उरई। हाल ही में सपा छोड़ कर बसपा में आए पूर्व राज्य मंत्री और पसमांदा समाज के नेता अनीस मंसूरी ने कब्रिस्तान के आसपास की मुस्लिम बाहुल्य बस्ती में बसपा प्रत्याशी विजय चौधरी के समर्थन में जनसभा की तो उनके पैने तीर लोगों के दिलों को छीलते गए । सपा के लिए उनके तेवर और दलीलें परेशानी पैदा कर सकते हैं ।
सभा में उन्होने चुन –चुन कर वे बातें कही जिससे सपा को लेकर मुसलमानों का खून खौल जाये । उन्होने कहा कि ये सपा नेता मुसलमानों के इतने बड़े हमदर्द हें कि जब मुजफ्फरनगर दंगों के पीड़ित टेंटों में सर्दी के कारण मर रहे थे तब ये सैफई में महोत्सव कर मुसलमानों की मौत का जश्न मनाने मे लगे थे । उन्होने कहा कि सपा के नेता पेंट के नीचे भगवा लंगोट पहनते हैं ।
उन्होने अखिलेश पर चोट की कि जो अपने पिता का नहीं हुआ वह आपका क्या होगा । उन्होने कहा कि प्रतापगढ़ में 66 बुनकर जला दिये गए थे ? समाजवादी पार्टी ने इसके लिए जिम्मेदार लोगों को ही सिर पर चढ़ा लिया । कुंडा में मुसलमान सी ओ जिया उल हक को शहीद कर दिया गया , तंजील अहमद मारे गए और न जाने कितने मुसलमान अफसर मार दिये गए । उन्होने कहा कि कांशीराम सही कहते थे कि पसमानदा मुसलमान और दलित मिल जायें तो 54 परसेंट होते हैं । उन्हें सरकार बनाने से कोई नहीं रोक सकता । जब प्रदेश में बी एस पी की सरकार बन जायेगी तो न कोई मुसलमान अफसर मारा जायेगा , न उन पर कोई ज़ोर जुल्म होने की गुंजायश रह जायेगी ।






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