कोंच। गणेश महोत्सव के अवसर पर यहां गढी स्थित प्राचीन गणेश मंदिर के पाश्र्व में भव्य पंडाल में विराजमान गणपति बप्पा के सानिध्य में गणेश सेवा समिति द्वारा संयोजित श्रीमद्भागवत कथा के दौरान विद्वान भागवत प्रवक्ता साध्वी वंदना उपाध्याय ने कहा कि अपमान उसी का होता है जिसे सम्मान की भूख होती है। संगीतमय भागवत कथा में भजनों पर श्रोता मुग्ध हो रहे हैं। उन्होंने कथा प्रवाह के दौरान कहा कि दक्ष प्रजापति के यहां आयोजित यज्ञ सभा में सभी देवता गये, वहां दक्ष ने कहा कि किसी भी यज्ञ में दूसरे देवों के साथ शिव को आहुति नहीं दी जायेगी। सभा में विराजमान नंदी को यह बात अनुचित लगी और क्रोधावेग में उन्होंने दक्ष को तीन श्राप दे दिये, जिस मुख से शिव निंदा की है वह सिर ही नहीं रहेगा, तेरे सिर के स्थान पर बकरे का सिर लगाया जायेगा और ब्रह्म विद्या कभी नहीं प्राप्त होगी क्योंकि शिवजी की निंदा करने बाले को कभी मुक्ति नहीं मिलती है। उन्होंने कहा कि शिव तत्व को छोडने बाली बुद्घि को संसार में भटकना पड़ता है, वह हमेशा दुख को प्राप्त करता है और उसे कभी शांति नहीं मिलती है। शिव निंदा करने बाला कभी काम का नाश नहीं कर सकता। शिवजी नंदी महाराज से कहते हैं कि वह क्यों श्राप देता है तो नंदी महाराज कहते हैं कि दक्ष ने शिव का अपमान किया है। यह सुन कर शिव नंदी को अपने पास बुला कर समझाते हैं, एक बात हमेशा याद रखो कि अपमान उसका होता है जिसे सम्मान की भूख रहती है। इतना कह कर वे तुरंत कैलाश चले जाते हैं। परीक्षित की भूमिका निभा रहे श्रीमती नीलम भदौरिया व बादाम भदौरिया ने भागवतजी की आरती उतारी। संगीतमयी इस कथा में सागर वोहरे के भजनों पर श्रोता मंत्रमुग्ध हो रहे हैं। सुशील दूरवार, सुधीर सोनी, राहुल तिवारी, गौरव सोनी, ऋषि झा, कल्लू यादव, मृदुल दांतरे, लोकेन्द्रसिंह सहित तमाम कार्यकर्ता व्यवस्थायें संभाल रहे हैं।






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