
उरई। सुदूर के प्रांतों में कम्पनियों में काम करने गये लोग अचानक लाॅकडाउन होने से फंस गये। जनपद के कई परिवार पहले से दूसरे राज्यों में पानी पूड़ी का धंधा कर रहे हैं। ऐसे भी कई लोग भूखे प्यासे अपनी-अपनी जगह फंसे हुए थे। उन्होंने जिले के हेल्पलाइन नम्बर की जानकारी कर जिलाधिकारी डा0 मन्नान अख्तर से सम्पर्क किया जिस पर जिलाधिकारी ने पूरी संवेदनशीलता दिखाते हुए संबंधित जिलों में अपने समकक्षों से उनकी मदद के लिए बात की। इसका असर हुआ और ऐसे परिवारों तक संबंधित जिलों के प्रशासन ने राहत सामग्री व अन्य सभी मदद पहुंचाने की व्यवस्था सुनिश्चित की है। 50 से ऊपर संख्या में ऐसे परिवार अब जिलाधिकारी को दुआयें दे रहे हैं।
लाॅकडाउन की घोषणा से सबसे बुरी उन परिवारों पर बीती जो अपने घर से सैकड़ों किलोमीटर दूर काम में लगे थे। न कोई उनकी भाषा समझ पा रहा था और न ही बेगानों के लिए वहां के लोगों में कोई बहुत हमदर्दी थी। परेशान होकर ऐसे परिवारों ने हेल्पलाइन नम्बर पर जिलाधिकारी मन्नान अख्तर से गंुहार की तो उन्हें जैसे फरिश्ता मिल गया।
फंसे हुए लोगों में कोई आन्ध्रा और कर्नाटक में हैं। तो तमाम दिल्ली में और एक परिवार तो गोवा में भी है। जिलाधिकारी के उनके जिलों में समकक्षों को फोन से उनकी परेशानी काफी हद तक दूर हो गई है। इस संवाददाता ने खुद ऐसे लोगों से फोन पर बात की तो उन्होंने कहा कि जिले के सबसे बड़े अफसर इतनी गंभीरता से उनकी बात को सुनेगे उन्हें यकीन नहीं था। ऐसे संकट में डीएम साहब ने फरिश्ते की तरह उनकी जो मदद कराई है वे उसे जिंदगी भर नहीं भूल सकते।






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