उरई। शहर को रोज़मर्रा की अव्यवस्थित यातायात समस्या से राहत दिलाने के लिए जिला प्रशासन ने एक अभिनव और अनुकरणीय पहल शुरू की है। जिलाधिकारी राजेश कुमार पाण्डेय ने युवाओं को यातायात सुधार अभियान से जोड़ते हुए एनसीसी एवं एनएसएस कैडेटों को विशेष प्रशिक्षण देकर उन्हें इस मुहिम का सशक्त भागीदार बनाया है।
विकास भवन स्थित रानी लक्ष्मीबाई सभागार में आयोजित प्रशिक्षण सत्र में जिलाधिकारी ने कैडेटों को यातायात नियमों, सड़क सुरक्षा, अनुशासन और आमजन से प्रभावी संवाद के व्यवहारिक गुर सिखाए। उन्होंने कहा कि यातायात नियमों का पालन केवल पुलिस या प्रशासन की जिम्मेदारी नहीं, बल्कि समाज की सामूहिक जिम्मेदारी है, जिसमें युवाओं की भूमिका सबसे अहम है।
इस नई व्यवस्था के तहत अब शहर के प्रमुख और व्यस्त चौराहों पर एनसीसी व एनएसएस कैडेटों की दो शिफ्टों में तैनाती की जाएगी। कैडेट यातायात को सुचारु बनाए रखने में सहयोग करेंगे और साथ ही वाहन चालकों व पैदल यात्रियों को हेलमेट, सीट बेल्ट, ज़ेब्रा क्रॉसिंग और ट्रैफिक सिग्नल जैसे नियमों के पालन के लिए प्रेरित करेंगे।
जिलाधिकारी ने बताया कि इस पहल से जहां एक ओर उरई की यातायात व्यवस्था में सुधार होगा, वहीं दूसरी ओर कैडेटों को सामाजिक दायित्व निभाने का व्यवहारिक अनुभव भी मिलेगा, जो उनके व्यक्तित्व निर्माण में सहायक सिद्ध होगा। अनुशासित कैडेटों की मौजूदगी से चौराहों पर अव्यवस्था कम होगी और शहर एक सुरक्षित, सुव्यवस्थित एवं जागरूक यातायात मॉडल की ओर बढ़ेगा।
इस अवसर पर अपर पुलिस अधीक्षक प्रदीप वर्मा, नगर मजिस्ट्रेट राजेश कुमार वर्मा, सीओ सिटी अर्चना सिंह, एआरटीओ राजेश कुमार, यातायात निरीक्षक वीर बहादुर सिंह सहित अन्य संबंधित अधिकारी एवं एनसीसी-एनएसएस कैडेट उपस्थित रहे।






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