माधौगढ़- उरई | आतंक का पर्याय बन चुके शिवम गुर्जर के खिलाफ माधौगढ़ पुलिस ने तीसरी बार गैंगस्टर की कार्रवाई कर दी है। इसके बाद लग रहा है कि शिवम गुर्जर के साम्राज्य का अंत होना तय है। समाज में लगातार संगीन अपराधों में संलिप्त रहने के कारण शिवम गुर्जर और उसके साथियों के ऊपर माधौगढ़ पुलिस ने एक बार फिर कानूनी नकेल कसने का काम किया है। इस बार पुलिस सम्पत्ति को कुर्क भी करने का मन चुकी है।
माधौगढ़ कोतवाली में मुकद्दमा संख्या 88/2024 धारा 2/3 गैंगस्टर एक्ट के तहत शिवम गुर्जर उर्फ़ श्रवण पुत्र दुष्यंत गुर्जर,चरित्र गुर्जर पुत्र राजीव,सुंदर उर्फ लववीर पुत्र रणधीर सिंह राजावत और शिवम गुर्जर नांगरी पुत्र उदयभान उर्फ मुन्ना गुर्जर निवासीगण बंगरा के ख़िलाफ़ रिपोर्ट दर्ज की गई है। यह सभी गिरोह बनाकर संगीन अपराधों को अंजाम देते थे। गैंग का लीडर शिवम गुर्जर है। जिसके ख़िलाफ़ जिले के कई थानों में संगीन अपराध दर्ज है। फिलहाल वह अभी जेल में है।
इनसेट
शिवम गुर्जर के ऊपर भाजपा नेता हरिओम पचौरी की हत्या,रामबाबू सोनी के साथ लूट,राजा विजय सिंह के साथ मारपीट में एससी एसटी,संदीप दीक्षित उर्फ सोनू के ऊपर प्राणघातक हमला में 307 और हरेंद्र गुर्जर की पत्नी के ऊपर फायरिंग में 307 जैसे मुकद्दमें लिखे,इनमे सभी में जेल गया। इसके अलावा बंगरा में दुकान पर बैठे विष्णु दीक्षित से पैसे मांगने के बाद रंगदारी का मुकद्दमा,कोटरा में पकड़ी गई असलहा फैक्ट्री का माल सप्लाई करने नाम आने के बाद रिपोर्ट दर्ज हो चुकी है।
राजनैतिक संरक्षण के कारण रहा सुरक्षित
शिवम गुर्जर राजनैतिक सरंक्षण के कारण बचता रहा लेकिन राजनैतिक आक़ाओं की कमजोरी के कारण अब मुश्किल होगी। राजनैतिक दबदबे के कारण ही शिवम ने अपने खिलाफ उठी हर आवाज को दबाने के लिए फर्जी मामलों में फंसाने के चक्रव्यूह खूब तैयार किये। पर अब कोतवाल सुनील सिंह ने कहा कि अपराधी को नेस्तनाबूद करने के लिए पुलिस पूरी तरह से प्रतिबद्ध है।